यदि आपके घर में कोई घटनाएं अचानक होती है। जिससे कोई बड़ी हानि होती रहती हो। या आपको लगता है कि घर में कोई ऊपरी बाधा का प्रभाव है। या किसी ने टोना टोटका कर रखा है तो आप इस उपाय के माध्यम से इस परेशानी से मुक्ति प्राप्त कर सकते है।
इस उपाय को आप शुक्ल पक्ष के मंगलवार से आरम्भ कर सकते है। घर में किसी शुद्ध स्थान पर गोबर लीप कर उसपर अष्टदल बनाएं। एक बाजोट रखकर लाल वस्त्र बिछाकर उस पर अभिमंत्रित लघु नारियल तथा श्री हनुमान यंत्र को स्थापित करें। नारियल व यंत्र पर रोली से तिलक कर प्रभु श्री हनुमान जी से अपनी समस्या का निवेदन करें। गुड़ का भोग लगाएं। शुद्ध घी का दीपक, चंदन की अगरबत्ती , व गुगल धूप जलाएं। ताम्बे की प्लेट पर रोली से ॐ हनुमते नमः लिखकर एक जटा वाला पानी वाला नारियल तोड़कर उसके पानी को अपने साधना स्थल पर अच्छे से छिड़क लें। नारियल को प्लेट के पास रख दें। फिर मूंगे की माला से
मंत्र :-ॐ घन्टाकर्णो महावीर सर्व उपद्रव नाशय कुरु कुरु स्वाहा
मंत्र के तीन माला जाप करें। माला समाप्त होने के बाद प्रणाम करके उठ जाएँ। अगले दिन स्नान करके प्रभु को भोग व धूप दीप अर्पित करके पुनः तीन माला जाप करें। इस तरह यह क्रिया लगातार 21 दिन तक करें। 21 वे दिन मंत्र जाप के बाद किसी 14 से 18 वर्ष के लड़के को भोजन करवाकर दक्षिणा और वस्त्र आदि दान दें। उसके जाने के बाद आप लाल वस्त्र को उठाकर लघु नारियल के साथ यंत्र और टूटा नारियल भी रखकर एक पोटली का रूप बना लें। उसे किसी लकड़ी के डिब्बे में रखकर अपने घर में कहीं भी खड्डा खोदकर दबा दें। ताम्बे की थाली जिसमे प्रभू का नाम लिखा था ,उसे गंगाजल डालकर धो लें। और जल को अपने घर में छिड़क लें। यदि आप किसी ऐसे स्थान पर रहते हो जहाँ आपको पोटली दबाने की जगह न हो तो आप अपने रखें के स्थान के पास किसी कच्चे स्थान पर भी दबा सकते है। इस उपाय से आप कुछ ही समय बाद चमत्कार देखने लगेंगे।
इस उपाय को आप शुक्ल पक्ष के मंगलवार से आरम्भ कर सकते है। घर में किसी शुद्ध स्थान पर गोबर लीप कर उसपर अष्टदल बनाएं। एक बाजोट रखकर लाल वस्त्र बिछाकर उस पर अभिमंत्रित लघु नारियल तथा श्री हनुमान यंत्र को स्थापित करें। नारियल व यंत्र पर रोली से तिलक कर प्रभु श्री हनुमान जी से अपनी समस्या का निवेदन करें। गुड़ का भोग लगाएं। शुद्ध घी का दीपक, चंदन की अगरबत्ती , व गुगल धूप जलाएं। ताम्बे की प्लेट पर रोली से ॐ हनुमते नमः लिखकर एक जटा वाला पानी वाला नारियल तोड़कर उसके पानी को अपने साधना स्थल पर अच्छे से छिड़क लें। नारियल को प्लेट के पास रख दें। फिर मूंगे की माला से
मंत्र :-ॐ घन्टाकर्णो महावीर सर्व उपद्रव नाशय कुरु कुरु स्वाहा
मंत्र के तीन माला जाप करें। माला समाप्त होने के बाद प्रणाम करके उठ जाएँ। अगले दिन स्नान करके प्रभु को भोग व धूप दीप अर्पित करके पुनः तीन माला जाप करें। इस तरह यह क्रिया लगातार 21 दिन तक करें। 21 वे दिन मंत्र जाप के बाद किसी 14 से 18 वर्ष के लड़के को भोजन करवाकर दक्षिणा और वस्त्र आदि दान दें। उसके जाने के बाद आप लाल वस्त्र को उठाकर लघु नारियल के साथ यंत्र और टूटा नारियल भी रखकर एक पोटली का रूप बना लें। उसे किसी लकड़ी के डिब्बे में रखकर अपने घर में कहीं भी खड्डा खोदकर दबा दें। ताम्बे की थाली जिसमे प्रभू का नाम लिखा था ,उसे गंगाजल डालकर धो लें। और जल को अपने घर में छिड़क लें। यदि आप किसी ऐसे स्थान पर रहते हो जहाँ आपको पोटली दबाने की जगह न हो तो आप अपने रखें के स्थान के पास किसी कच्चे स्थान पर भी दबा सकते है। इस उपाय से आप कुछ ही समय बाद चमत्कार देखने लगेंगे।