क्या आपकी पत्नी घर छोड कर चली गई है ? तो करें ये सरल उपाय और मनाएं अपनी पत्नी को -1
वैवाहिक जीवन में अलगाव की बात को बहुत गंभीरता से लिया जाता है। पति पत्नी के अलग होने का प्रभाव उनकी संतानों पर भी पड़ता है। इसलिए यही प्रयास रहना चाहिए कि इस बात को आगे न बढ़ने दिया जाये। अर्थात अपनी गलतियों को मानते हुए और दूसरे को मनाते हुए जीवन को आगे बढ़ाना चाहिए। फिर भी पति पत्नी के मध्य कटुता होती रहती है। जिसे दूर करने के लिए अनेक प्रकार के शास्त्रीय उपाय विधमान है। जिनके करने से दोनों में प्रेम भावना वापस आ जाती है। इसलिए इन प्रयोगों की आधुनिक जीवन में बहुत आवश्यकता है।
जब कभी भी किसी कारण से पत्नी नाराज होकर अपने मायके चली गई हो , तब यह प्रयोग पति को करना चाहिए। इस उपाय को करने से पहले पति का यह विश्वास होना चाहिए कि पत्नी के प्रति उसका व्यवहार ठीक नहीं था। और इस उपाय के द्वारा वह व्यवहार पर पश्चाताप करना चाहता है। इसके लिए निम्न मंत्र की पांच माला प्रातः स्न्नान आदि नित्य क्रिया से निवृत होकर जाप करना है। इसके लिए किसी विशेष विधि की आवश्यकता नहीं है। अपने घर के पूजा स्थल के पास अथवा किसी शांत और एकांत स्थान पर ऊनी कंबल के आसन पर पूर्व दिशा की तरफ मुख करके जाप करें। जाप पूर्ण करके अपने इष्ट देव से निवेदन करे कि उसे अपनी गलती का पश्चाताप है। इसलिए उसकी पत्नी के मन से तनाव एवं विरोधी भावनाओ को समाप्त करके वापस लौटाओ।
यह अनुभव सिद्ध प्रयोग है तथा यदि आपने पूरी ईमानदारी और भावना से यह उपाय कर लिया तो आपकी पत्नी ग्यारह या इक्कीस दिन में हो आपके पास आ जायेगी। इस उपाय में यह बंधन है कि फिर कभी आप अपनी पत्नी से बुरा बर्ताव नहीं करेंगे।
वैवाहिक जीवन में अलगाव की बात को बहुत गंभीरता से लिया जाता है। पति पत्नी के अलग होने का प्रभाव उनकी संतानों पर भी पड़ता है। इसलिए यही प्रयास रहना चाहिए कि इस बात को आगे न बढ़ने दिया जाये। अर्थात अपनी गलतियों को मानते हुए और दूसरे को मनाते हुए जीवन को आगे बढ़ाना चाहिए। फिर भी पति पत्नी के मध्य कटुता होती रहती है। जिसे दूर करने के लिए अनेक प्रकार के शास्त्रीय उपाय विधमान है। जिनके करने से दोनों में प्रेम भावना वापस आ जाती है। इसलिए इन प्रयोगों की आधुनिक जीवन में बहुत आवश्यकता है।
जब कभी भी किसी कारण से पत्नी नाराज होकर अपने मायके चली गई हो , तब यह प्रयोग पति को करना चाहिए। इस उपाय को करने से पहले पति का यह विश्वास होना चाहिए कि पत्नी के प्रति उसका व्यवहार ठीक नहीं था। और इस उपाय के द्वारा वह व्यवहार पर पश्चाताप करना चाहता है। इसके लिए निम्न मंत्र की पांच माला प्रातः स्न्नान आदि नित्य क्रिया से निवृत होकर जाप करना है। इसके लिए किसी विशेष विधि की आवश्यकता नहीं है। अपने घर के पूजा स्थल के पास अथवा किसी शांत और एकांत स्थान पर ऊनी कंबल के आसन पर पूर्व दिशा की तरफ मुख करके जाप करें। जाप पूर्ण करके अपने इष्ट देव से निवेदन करे कि उसे अपनी गलती का पश्चाताप है। इसलिए उसकी पत्नी के मन से तनाव एवं विरोधी भावनाओ को समाप्त करके वापस लौटाओ।
ॐ दमयन्तीनलाभ्यां च नमस्कारं करोभ्यहम .
अभिवादो भवेदत्र कलिदोषप्रशान्तिद:.